भ्रष्ट, घमंडी और निक्कमे सत्ताधीशो से इस समझ की उम्मीद करना बेईमानी ही होगी कि वो गीता के इस सूत्र को समझेगे, “अभिमानी का विनाश कोई और नहीं उसका अभिमान करता है”. अन्ना के खिलाफ अनावश्यक और गैर-जिम्मेदार बयान देने के बाद सरकार का तथाकथित “थिंक टैंक” नदारत और दिशा-विहीन है. पिछले कई दिनों से देश में छिड़ी क्रांति के बीच में, एक बार भी सरकार का कोई भी नुमाइन्दा देश को यह भरोसा दिलाने के लिए आगे नहीं आ पाया है, कि हाँ हम मानते है कि भ्रष्टाचार ख़तम हो सकता है और हम उसे ख़तम करने के सारे उपाय करेगें.
प्रधानमंत्री जी की तो सबसे बड़ी यही समस्या है की उनके पास कोई “जादू की छड़ी नहीं है”, लेकिन उनके मंत्रियो और सांसदों के पास “काला जादू” जरूर है, जिससे वो देश की सम्पति को दीमक की तरह से चाट किये जा रहे है. सरकार का पूरा प्रयास है की वह भ्रष्टाचार की इस लड़ाई को “अन्ना बनाम संसद” कर दे, और देश के सामने यह झूठ फैला पाए, कि अन्ना लोकतान्त्रिक प्रक्रिया के खिलाफ है. यह तो तय है, सरकार प्राथमिकता भ्रष्टाचार ख़तम करना नहीं बल्कि आने वाले विधानसभा चुनाव और पार्टी का चंदा है. सरकार ने अभी-अभी एक और चाल चली है, सोनिया गाँधी जी के नीचे काम करने वाले कुछ समाजसेवकों को अन्ना के खिलाफ मैदान में उतरा है. नीति साफ़ है “फूट डालो और राज करो”. सरकार अन्ना से निपटना चाहती है न कि भ्रष्टाचारियो से.
अन्ना आज, हमारे कल के लिए “राम लीला” मैदान पर डटे हुए है. वह इन्सान जिसने अपना सारा जीवन देश को समर्पित कर दिया है, वह देश से समर्थन चाहता है. अगर आज हम राष्ट्र के लिए सड़को पर नहीं उतरे तो आने वाला कल निश्चय ही शर्मसार करने वाला होगा. आज देश की जरूरत है अधिक से अधिक लोग भ्रष्टाचार के खिलाफ इस मुहीम में जुड़े और सरकार के कुतर्को और चालबाजियो का करारा जवाब दे. इस आन्दोलन से जुड़ने के लिए न तो आप को न तो स्यंभू नेता बनने की जरूरत है और न हिंसा फ़ैलाने की, सिर्फ चाहिए तो थोड़ी इक्षाशक्ति और कुछ समय.
अब देश की दूसरी आजादी की की लड़ाई सिर्फ भारतवर्ष तक ही नहीं सीमित है, सारी दुनिया में बसने वाले भारतीय अन्ना के साथ है. मै और मेरे कुछ मित्रो ने डलास – टेक्सास(USA) में भ्रष्टाचार के खिलाफ और अन्ना के समर्थन में एक मार्च का आयोजन किया जिसे जबरदस्त समर्थन मिला. उम्मीद करता हूं, मेरे दोस्त और मेरा परिवार भी हिंदुस्तान में देश की इस दूसरी आज़ादी के लिए और ताकत से खड़ा होगा और तब तक डटा रहेगा जब तक हम एक सशक्त लोकपाल नहीं पा जाते.
कुछ फोटो आप लोगो के साझा कर रहा हूं, जो हम लोगो ने खीची भारत सरकार को भेजने के लिए और यह दिखने के लिए की अन्ना को सर्मथन सिर्फ भारत से ही नहीं बल्कि सारी दुनिया से मिल रहा है.
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